पूर्व मंत्री गायत्री प्रजापति को जेल अभिरक्षा में लेने के लिए लगातार दबाव बन रहा था। इसके लिए जेल प्रशासन व केजीएमयू के बीच पत्राचार हो रहे थे। इस मामले में मंगलवार को विशेष न्यायाधीश एमपी व एमएलए कोर्ट ने राहत दे दी। उन्होंने हाईकोर्ट के आदेश का अनुपालन करने को कहा है। विशेष अदालत से आदेश जारी होने के बाद पूर्व मंत्री को काफी राहत मिली है। अब उनका इलाज केजीएमयू में ही चलेगा। इलाज होने तक उनको जेल शिफ्ट नहीं किया जाएगा।
पूर्व मंत्री गायत्री प्रजापति को पिछले महीने में जमानत पर रिहा होने के एक दिन बाद ही गिरफ्तार किया गया। इसके बाद से ही उनका लगातार केजीएमयू में इलाज चल रहा है। पिछले सप्ताह से उनको जेल में शिफ्ट करने की कवायद तेज हो गई थी। लगातार जेल प्रशासन ने केजीएमयू प्रशासन को पत्र भेजा। जिसके जबाव में केजीएमयू प्रशासन ने अपनी मेडिकल रिपोर्ट भेजी। जिसमें कहा कि उनका इलाज अस्पताल में ही किया जाना जरूरी है। ऐसी स्थिति में जेल में शिफ्ट करने से दिक्कतें बढ़ सकती हैं।
इस मामले में पूर्व मंत्री के वकील ने विशेष एमपी/एमएलए कोर्ट में याचिका दायर की। जिसका निस्तारण मंगलवार को किया गया। इसमें साफ कहा गया कि हाईकोर्ट ने पूर्व मंत्री गायत्री प्रजापति को बीमारी के दौरान केजीएमयू में इलाज कराने को कहा गया था। वर्तमान में कोरोना संक्रमण को देखते हुए जेल में शिफ्ट करना उचित नहीं है। विशेष न्यायाधीश पवन कुमार राय ने सुनवाई के बाद प्रार्थनापत्र का निस्तारण करते हुए कहा कि हाईकोर्ट के आदेश का अनुपाल किया जाना जरूरी हैं।