ऋषिकेश। भारत में इजरायल के राजदूत डाॅ राॅल्स मल्का, सपरिवार आपने 50 सदस्यों के दल के साथ परमार्थ निकेतन पधारे। परमार्थ गुरूकुल के ऋषिकुमारों ने राजदूत डाॅ राॅल्स मल्का सहित सभी अतिथियों का वेद मंत्रों से दिव्य स्वागत किया। उन्होने परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज एवं जीवा की अन्तर्राष्ट्रीय महासचिव साध्वी भगवती सरस्वती से मुलाकात कर विभिन्न वैश्विक विषयों पर चर्चा की। साध्वी जी ने उन्हे स्वामी जी महाराज के पावन संरक्षण और मार्गदर्शन में वैश्विक स्तर पर परमार्थ निकेतन, ग्लोबल इण्टरफेथ वाश एलायंस, डिवाइन शक्ति फाउंडेशन और गंगा एक्शन परिवार द्वारा संचालित गतिविधियों की जानकारी प्राप्त की। राजदूत डाॅ राॅल्स मल्का एक शिक्षाविद् भी हैं। उन्होने कालेज आफ लाॅ एंड बिजनेस में वरिष्ठ लेक्चरर और फाइनेंशियल मार्केट्स एंड बैंकिग में स्नातक कार्यक्रम के डीन भी रहे। साथ ही डाॅ राॅल्स मल्का तेल अवीव स्टाॅक एक्सचेंज के निदेशक और कार्यवाहक चेयरमैन के रूप में भी कार्य कर चुके है। स्वामी जी महाराज ने वैश्विक स्तर पर शान्ति की स्थापना, भारत और इजरायल के साझा हित कार्यक्रम, सामाजिक सम्बंधों, अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव, स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण जैसे अनेक विषय में उनसे चर्चा की। स्वामी जी महाराज ने कहा कि भारत और इजराइल मिलकर विश्व शान्ति, सद्भाव और पर्यावरण संरक्षण के लिये मिलकर कार्य करें तो वैश्विक स्तर पर विलक्षण परिवर्तन हो सकता है। स्वामी जी ने कहा कि आपकी जल संरक्षण और दूषित जल के रिसाइकिल के लिये विशेज्ञता भी है हम मिलकर इस ओर बहुत कुछ कर सकते है।स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने डाॅ राॅल्स मल्का से भारतीय दर्शन, कुम्भ मेला, माँ गंगा, हिमालय के आध्यात्मिक महत्व पर चर्चा की साथ ही वर्ष 2020 में होने वाले अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव तथा वर्ष 2021 में हरिद्वार में होने वाले कुम्भ मेला के विषय में भी चर्चा की तथा उन्हें अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव और कुम्भ मेला में सहपरिवार सहभाग हेतु आमंत्रित किया। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने कहा कि आपके भारत और इजरायल के मध्य आपसी बन्धुत्व और प्रगाढ़ होंगे। हमारे रिश्ते मधुरता, शान्ति और सौहार्द्रता से परिपूर्ण थे और आगे भी रहेंगे। भारत और इजरायल के आपसी सम्बंध दुनिया के लिये एक मिसाल है। उन्होने कहा मुझे भरोसा है कि दोनों राष्ट्र, बधुत्व और शान्तिपूर्ण सह अस्तित्व के साथ आगे बढ़ते रहेंगे। साथ ही कहा कि वर्तमान समय में भारत के पास एक कुशल नेतृत्व करने वाली सरकार है जो कि वैश्विक स्तर की समस्याओं का समाधान बेहतर ढंग से कर सकती है। स्वामी जी ने कहा कि अब समय आ गया है कि दोनों राष्ट्र मिलकर जलवायु परिवर्तन, आंतकवाद, कुपोषण, गरीबी उन्नमूलन, मानवाधिकार जैसे अन्तर्राष्ट्रीय मुद्दों के समाधान के साथ वैश्विक समृिद्ध के लिये मिलकर कार्य करें। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने कहा कि वर्तमान समय में देखा जायें तो विश्व स्तर पर दो समस्यायें भयावह रूप ले रही है प्रथम तो जल का घटता स्तर और दूसरा चारों ओर बढ़ता प्लास्टिक। हम सभी को सर्वप्रथम जल समस्या के विषय में विचार करना होगा क्योंकि यह एक वैश्विक भयावह समस्या है। जल समस्या एक वैश्विक समस्या है इसके लिये जल के संरक्षण के साथ जल का पुनर्चक्रण नितांत आवश्यक है। वैज्ञानिकों ने बताया की भारत में कुल ऊर्जा का 15.2 प्रतिशत ही नवीकरणीय ऊर्जा का योगदान है इसी प्रकार अपशिष्ट जल का केवल 2.2 प्रतिशत पुनर्नवीनीकरण किया जा रहा है इसलिये हमें जल के पुनर्चक्रण एवं पुनर्नवीनीकरण के लिये क्रान्ति की तरह कार्य करना होगा। जल वैज्ञानिकों ने घोषणा की है कि दुनिया में वर्ष 2040 तक पीने योग्य जल केवल आधा ही बचा रहेगा वास्तव में यह चिंतन का विषय है और इस पर सामाधान होना चाहिये। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने राजदूत डाॅ राॅल्स मल्का को पर्यावरण संरक्षण का प्रतीक रूद्राक्ष का पौधा, इलायची की माला एवं महाग्रंथ हिन्दु धर्म विश्वकोष की प्रति भी उपहार स्वरूप दी। स्वामी जी महाराज, साध्वी भगवती सरस्वती जी और डाॅ राॅल्स मल्का ने विश्व शान्ति हेतु विश्व ग्लोब का जलाभिषेक किया। डाॅ राॅल्स मल्का, धर्मपत्नी ली, बच्चे अमीर, आसफ, माया और उनके साथ आये 50 सदस्यों ने परमार्थ गंगा आरती में सहभाग किया। डाॅ राॅल्स मल्का ने कहा कि हमने परमार्थ निकेतन के बारे वास्तव में दिव्य क्षेत्र है। गंगा की दिव्यता और पवित्रता मन को आनंद से भर देती है।
भारत में इजरायल के राजदूत डाॅ राॅल्स मल्का सपरिवार पहुंचे परमार्थ निकेतन डाॅ राॅल्स मल्का का परमार्थ गुरूकुल के ऋषिकुमारों ने वेद मंत्रों से किया दिव्य स्वागत